52 भैरव मंत्र रक्षा मंत्र – भैरव साधना pdf और 64 योगिनी शाबर मंत्र और विधि | 52 bhairav shabar mantra

52 bhairav shabar mantra हेलो दोस्तों नमस्कार आज हम आप लोगों को 52 भैरव मंत्र के बारे में बताएंगे किस मंत्र का जाप करने के बाद आपके सारे दुख दर्द और कष्ट दूर हो जाएंगे भैरव के 52 रूपों की या फिर किसी भी एक रूप की साधना करनी चाहिए. इससे आपको मनचाही मनोकामना पूर्ण होती है तो आज हम आप लोगों को सावन 52 भैरव मंत्र बताएंगे.52 भैरव मंत्र PDF, प्राचीन भैरव मंत्र, हनुमान भैरव मंत्र, 52 भैरव के नाम, बावन भैरव मंत्र, भैरव शाबर मंत्र, 64 भैरव के नाम, भैरव गायत्री मंत्र, 52 भैरव मंत्र, 52 भैरव मंत्र pdf, 64 जोगनी 52 भैरव मंत्र, 52 भैरव 64 योगिनी शाबर मंत्र, 52 भैरव 64 योगिनी मंत्र, 52 भैरव 64 जोगनी का मंत्र, 52 bhairav mantra, 52 bhairav shabar mantra, 52 bhairav sadhana, 52 bhairav, 52 bhairav ke naam52 भैरव मंत्र, 64 जोगनी 52 भैरव मंत्र, 52 भैरव 64 योगिनी शाबर मंत्र, 52 भैरव मंत्र pdf, 52 भैरव 64 जोगनी का मंत्र, 52 भैरव 64 योगिनी मंत्र, 52 भैरव मंत्र audio, 52 bhairav mantra, 52 bhairav shabar mantra, 52 bhairav sadhana, 52 bhairav ke naam, 52 bhairav, 52 भैरव मंत्र 20 प्रयोग विधि, 52 भैरव मंत्र 56 कलवा, 52 bhairav mantra, 52 bhairav shabar mantra, 52 भैरव मंत्र pdf, benefits of bhairav mantra, bhairav 108 names benefits, benefits of swarnakarshan bhairav mantra, kaal bhairav mantra for success in english, 52 bhairav mantra, 52 bhairav sadhana, 52 bhairav ke naam, 52 bheru, 52 bhairav, 52 bheru ke naam, 52 veer mantra, 52 भैरव के नाम बताइए, 52 भैरव के नाम बताओ, 52 भैरव के नाम क्या है, 52 भैरव के नाम बताएं, 52 भैरव 64 योगिनी के नाम, 52 bhairav ke naam, 52 bhairav names in hindi, 52 bheru ke naam, 52 bhairav names, 52 भैरव का नाम, 64 योगिनी 52 भैरव का शक्तिशाली रक्षा शाबर मंत्र, 64 yogini 52 bhairav, 64 jogani 52 veer, 52 bhairav shabar mantra, 64 bhairav ke naam, 52 bhairav shabar mantra, 52 bhairav shabar mantra anuradha paudwal, 52 bhairav shabar mantra akash, 52 bhairav shabar mantra bataen, 52 bhairav shabar mantra bataiye, 52 bhairav shabar mantra jaap, 52 bhairav shabar mantra job, 52 bhairav shabar mantra janjira, 52 bhairav shabar mantra ke fayde, 52 bhairav shabar mantra ke sath, 52 bhairav shabar mantra ke, 52 bhairav shabar mantra ke 108 naam, 52 bhairav shabar mantra mantra, 52 bhairav shabar mantra rahasya, 52 bhairav shabar mantra raksha, 52 भैरव 64 योगिनी के नाम, 64 भैरव के नाम, 52 भैरव मंत्र, भैरव बाबा कौन थे, भैरव के टोटके, काल भैरव और बटुक भैरव में क्या अंतर है, भैरव बाबा को प्रसन्न करने के उपाय, काल भैरव का इतिहास, काल भैरव की पूजा किस दिन होती है, काल भैरव कौन है?, काल भैरव का इतिहास, काल भैरव के 8 नाम, बटुक भैरव का मंदिर कहां है, भैरव के टोटके, बटुक भैरव पूजा विधि, बटुक भैरव कौन है, भैरव बाबा को प्रसन्न करने के उपाय, भैरव बाबा को प्रसन्न करने का उपाय, भैरव बाबा को प्रसन्न करने के उपाय vidhi, भैरव बाबा को प्रसन्न करने के उपाय योग,

जिसका उपयोग करके आप अपने सारे कष्टों को दूर कर सकते हैं. चलिए सबसे पहले हम आप लोगों को बताते हैं 64 योगिनी 52 भैरव का शक्तिशाली रक्षा शाबर मंत्र आएंगे और उसके बाद उन 52 भैरव मंत्र के बारे में बताएंगे।

64 योगिनी 52 भैरव का शक्तिशाली रक्षा शाबर मंत्र

अक्सर हमारे साथ ऐसा होता है हम कोई भी कार्य करते हैं हमारा वह कार्य बनता नहीं है या फिर उसमें अर्चना आती रहती हैं या फिर किसी भी प्रकार का तांत्रिक उपयोग किया गया हो किसी भी प्रकार का दोष हो ग्रह दोष हो या फिर किसी भी प्रकार की आंतरिक बाधा या फिर कोई ऊपरी बाधा हो जैसे कि कोई भूत प्रेत या फिर आपके जीवन में कोई भी समस्या हो उन सभी समस्याओं का निवारण करने के लिए 64 योगिनी 52 भैरव का मंत्र है.

यह शाबर मंत्र बहुत ही शक्तिशाली मंत्र है यह मंत्र हर प्रकार के दोष को किसी भी प्रकार की परेशानियां हैं उन्हें दूर कर देता है।

1. 64 योगिनी मंत्र रक्षा शाबर मंत्र

ॐ ऐं ह्रीं श्रीं श्री काली नित्य सिद्धमाता स्वाहा।

 ॐ ऐं ह्रीं श्रीं श्री कपलिनी नागलक्ष्मी स्वाहा। 

ॐ ऐं ह्रीं श्रीं श्री कुला देवी स्वर्णदेहा स्वाहा

2. 52 भैरव रक्षा शाबर मंत्र

ॐ कालभैरवाय नम:। 

ॐ भयहरणं च भैरव:। 

ॐ ह्रीं बं बटुकाय आपदुद्धारणाय कुरूकुरू बटुकाय ह्रीं। 

ॐ भ्रं कालभैरवाय फट्।

भैरव मंत्र pdf | bhairav mantra pdf

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52 भैरव मंत्र | 52 bhairav mantra

यह 52 भैरव मंत्र का जाप करके आप अपनी मनोकामना पूर्ण कर सकते हैं मनोकामना पूर्ण करने के लिए आपको इन 52 भैरवा मंत्र का जाप करना होगा और साथ ही साथ इन मंत्रों का जाप आप विधि विधान से कर सकते हैं।

करन्यास

  1. ह्रां वां अंगुष्ठाभ्यां नमः
    ह्रीं वीं तर्जनीभ्याम नमः
    ह्रूं वूं मध्यमाभ्याम नमः
    ह्रैं वैं अनामिकाभ्याम नमः

करन्यासवत हृद्यादी न्यास

  1. नैवेद्य
    ऎह्ये हि देवी पुत्र बटुकनाथ कपिलजटाभारभास्वर त्रिनेत्र ज्वालामुख सर्व विघ्नान नाशय नाशय सर्वोपचार सहित बलिं गृहण गृहण स्वाहा
  2. ॐ भैरवो भूतनाथश्च भूतात्मा भूतभावन।
    क्षेत्रज्ञः क्षेत्रपालश्च क्षेत्रदः क्षत्रियो विराट्॥
  3. श्मशान वासी मांसाशी खर्पराशी स्मरांतकः।
    रक्तपः पानपः सिद्धः सिद्धिदः सिद्धिसेवित॥
  4. कंकालः कालशमनः कलाकाष्टातनु कविः।
    त्रिनेत्रो बहुनेत्रश्च तथा पिंगल-लोचनः॥
  5. शुद्धनीलांजन प्रख्यो दैत्यहा मुण्डभूषितः।
    बलिभुग् बलिभंगः वैद्यवीर नाथी पराक्रमः ॥
  6. सर्वापित्तारणो दुर्गे दुष्टभूत-निषेवितः।
    कामी कलानिधि कान्तः कामिनी वशकृद्वशी॥
  7. सर्व सिद्धि परदों वैद्यः प्रभुर्विष्णुरितीव हि
    अष्टोतर शतं नाम्नां भैरवस्य महात्मनः ॥
  8. मयाते कथितं देवी रहस्य सर्व कामिकं
    यः इदं पठत स्तोत्रं नामाष्टशतमुत्तमम् ॥
  9. कालः कपालमाली च कमनीयः कलानिधिः।
    त्रिलोचनो ज्वलन्नेत्रः त्रिशिखा च त्रिलोकपः ॥
  10. त्रिनेत्र तनयो डिम्भशान्तः शान्तजनप्रियः।
    बटुको बहुवेषश्च खट्वांग वरधारकः॥
  11. भूताध्यक्षः पशुपतिः भिक्षुकः परिचारकः।
    धूर्तो दिगम्बरः शूरो हरिणः पांडुलोचनः॥
  12. प्रशांतः शांतिदः शुद्धः शंकर-प्रियबांधवः।
    अष्टमूर्तिः निधीशश्च ज्ञान-चक्षुः तपोमयः॥
  13. अष्टाधारः षडाधारः सर्पयुक्तः शिखिसखः।
    भूधरो भुधराधीशो भूपतिर भूधरात्मजः॥
  14. कंकालधारी मुण्डी च नागयज्ञोपवीतिकः ।
    जृम्भणो मोहनः स्तम्भो मारणः क्षोभणस्तथा ॥
  15. शूलपाणिः खङ्गपाणिः कंकाली धूम्रलोचनः।
    अभीरूर भैरवीनाथो भूतपो योगिनीपतिः॥
  16. धनदो अधनहारी च धनवान् प्रतिभानवान्।
    नागहारो नागपाशो व्योमकेशः कपालभृत्॥
  17. ॐ कर कलित कपाल कुण्डली दण्ड पाणी तरुण तिमिर व्याल
  18. यज्ञोपवीती कर्त्तु समया सपर्या विघ्न्नविच्छेद हेतवे
    जयती बटुक नाथ सिद्धि साधकानाम
  19. ॐ श्री बम् बटुक भैरवाय नमः 
  20. ॐ ह्रीं बटुकाय आपदुद्धारणाय कुरु कुरु बटुकाय ह्रीं 
  21. ॐ क्रीं क्रीं कालभैरवाय फट 
  22. ॐ हं षं नं गं कं सं खं महाकाल भैरवाय नम:
  23. ॐ काल भैरवाय नमः
  24. ॐ श्री भैरवाय नमः
  25. ॐ भ्रां कालभैरवाय फट् 
  26. ॐ ह्रीं श्मशानवासिने नम:
  27. ॐ ह्रीं मांसाशिने नम:
  28. ॐ ह्रीं खर्पराशिने नम:
  29. ॐ ह्रीं स्मारान्तकृते नम:
  30. ॐ ह्रीं रक्तपाय नम:
  31. ॐ ह्रीं पानपाय नम:
  32. ॐ ह्रीं सिद्धाय नम:
  33. ॐ ह्रीं सिद्धिदाय नम:
  34. ॐ ह्रीं सिद्धिसेविताय नम:
  35. ॐ ह्रीं कंकालाय नम:
  36. ॐ ह्रीं कालशमनाय नम:
  37. ॐ ह्रीं कला-काष्ठा-तनवे नम:
  38. ॐ ह्रीं कवये नम:
  39. ॐ ह्रीं त्रिनेत्राय नम:
  40. ॐ ह्रीं बहुनेत्राय नम:
  41. ॐ ह्रीं पिंगललोचनाय नम:
  42. ॐ ह्रीं शूलपाणाये नम:
  43. ॐ ह्रीं खड्गपाणाये नम:
  44. ॐ ह्रीं धूम्रलोचनाय नम:
  45. ॐ ह्रीं अभीरवे नम:
  46. ॐ ह्रीं भैरवीनाथाय नम:
  47. ॐ ह्रीं भूतपाय नम:
  48. ॐ ह्रीं योगिनीपतये नम:
  49. ॐ ह्रीं धनदाय नम:
  50. ॐ ह्रीं अधनहारिणे नम:
  51. ॐ ह्रीं धनवते नम:

52 भैरव मंत्र का जाप करने के लिए आपको इसका विधि विधान भी बताया गया है।

52 भैरव मंत्र विधि विधान | 52 bhairav mantra vidhi vidhan

52 भैरवा मंत्र का पाठ करने के आपके लिए इसकी विधि बहुत ही सरल है इसको आप हर मंगलवार के दिन बटुक भैरव यंत्र अपने सामने रखकर उनकी साधना एवं पाठ करें और बटुक भैरव यंत्र का पंचोपचार पूजन करें और रोज इसका विधि पूर्वक पाठ करें पाठ करने के बाद इस मंत्र का जाप जरूर करें यह मंत्र 11000 पाठ करने से 52 भैरवा मंत्र सिद्ध होता है ।

इस मंत्र का जाप करने के बाद तथा पूजन करने के बाद किसी कुत्ते को खीर खिलाएं। 52 भैरव मंत्र विधि विधान से पाठ करने से साधक को मनचाहा फल प्राप्त होता है।

52 भैरव नाम

क्रम सख्या 52 भैरव के नाम
1. क्षेत्रपाल वीर
2. कपिल वीर
3.  बटुक वीर
4. नृसिंह वीर
5. गोपाल वीर
6. भैरव वीर
7.  गरूढ़ वीर
8.  महाकाल वीर
9.  काल वीर
10.  स्वर्ण वीर
11.  रक्तस्वर्ण वीर
12.  देवसेन वीर
13.  घंटापथ वीर
14.  रुद्रवीर
15. तेरासंघ वीर
16. वरुण वीर
17. कंधर्व वीर
18. हंस वीर
19. लौन्कडिया वीर
20. वहि वीर
21. प्रियमित्र वीर
22. कारु वीर
23. अदृश्य वीर
24. वल्लभ वीर
25. वज्र वीर
26. महाकाली वीर
27. महालाभ वीर
28. तुंगभद्र वीर
29. विद्याधर वीर
30. घंटाकर्ण वीर
31. बैद्यनाथ वीर
32. विभीषण वीर
33. फाहेतक वीर
34. पितृ वीर
35. खड्‍ग वीर
36. नाघस्ट वीर
37. प्रदुम्न वीर
38. श्मशान वीर
39. भरुदग वीर
40. काकेलेकर वीर
41. कंफिलाभ वीर
42. अस्थिमुख वीर
43. रेतोवेद्य वीर
44. नकुल वीर
45. शौनक वीर
46. कालमुख
47. भूतबैरव वीर
48. पैशाच वीर
49. त्रिमुख वीर
50. डचक वीर
51. अट्टलाद वीर
52. वासमित्र वीर

FAQ : 52 भैरव मंत्र

Q. 52 भैरव के नाम कौन कौन से हैं?

Ans. 52 भैरव मंत्र के नाम कुछ इस प्रकार है। असितांग-भैरव, भीषण-भैरव तथा,संहार-भैरव। ,रुद्र-भैरव,उन्मत्त-भैरव, कपाली-भैरव, चंद्र-भैरव, क्रोध-भैरव,

Q. बटुक भैरव का कौन सा दिन है?

Ans. बटुक भैरव का दिन रविवार होता है और इनकी जयंती 20 जून को मनाई जाती है।

Q. भैरव मंत्र सिद्ध कैसे करें?

Ans. भैरव मंत्र सिद्ध करने के लिए इस मंत्र का जाप रात्रि में करना चाहिए यह साधना दक्षिण दिशा में मुख करके की जाती है और इस मंत्र की साधना करने के लिए सिर्फ तेल के दीपक का इस्तेमाल किया जाता है ऐसा करके आप भैख मंत्र सिद्ध कर सकते हैं।

निष्कर्ष

जैसा कि आज मैं आप लोगों को बताया 52 भैरवा मंत्र के बारे में और उन 52 मंत्रों का जाप कैसे करना है विधि विधान से बताया तो अब आप लोगों को समझ में आ गया होगा कि 52 भैरवा मंत्र क्या है और इनका जाप कैसे करना है तो आप लोग भी इस मंत्र का उपयोग करके अपने सारे कष्टों को दूर कर सकते हैं।

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