कृत्या सिद्धि कैसे करे ? खतरनाक कृत्या साधना क्या है ? मंत्र से कृत्या साधना कैसे करे पूर्ण जानकारी ? kratya practice in hindi Complete information and mantra

कृत्या साधना kritya sadhna एक ऐसी साधना है जिसको सिद्ध siddhi  करने के बाद व्यक्ति के अंदर असीम शक्ति पैदा हो जाती है धर्म शास्त्रों में आपने पढ़ा हो लिखा होगा कि जब भी देवी या देवताओं अथवा राक्षसों के ऊपर किसी भी प्रकार की विपत्तियां आई तो उन्होंने अपने योग बल से एक ऐसी शक्ति का निर्माण किया जिसके द्वारा अपने कार्यों की सिद्ध किया। kratya kaise siddh kare manta aur jankari !

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कृत्या साधना वास्तव में एक असीम शक्ति की उर्जा है जो असंभव कार्य करने की क्षमता रखती हैं। यह एक ऐसी शक्ति है ना स्त्री के रूप में और ना पुरुष के रूप में रहती है बल्कि जो साधक जिस रूप में से उत्पन्न करता है वह उसी रूप में उत्पन्न होकर कार्य करने लगती है।

आपने पढ़ा होगा कि भस्मासुर राक्षस को नष्ट करने के लिए भगवान विष्णु ने कृपया मोहिनी रूप धारण किया था उसी प्रकार भगवान शंकर ने दक्ष के यज्ञ को नष्ट करने के लिए कृत्या पुरुष का सहारा लिया था।! यह पोस्ट आप OSir.in वेबसाइट पर पढ़ रहे है !

कृत्या साधना करने की विधि जाने कैसे करे ?  kritya sadhna hindi

यह एक बहुत ही शक्तिशाली विद्या है जिसको बड़ी ही सावधानी के पूर्वक गोपनीय स्थान पर एकदम शांत वातावरण में जहां आसपास कोई भी किसी प्रकार का व्यवधान ना हो यदि कमरे में कर रहे हैं तो कमरे की खिड़कियां दरवाजे सभी बंद करके इस विद्या को करें जिससे कमरे में कोई प्रवेश ना कर सके तभी यह विद्या संभव है।

इस साधना को प्रतिदिन एक निश्चित स्थान पर आसन लगाकर साधना करनी पड़ती है साधना करने वाले व्यक्ति को एकदम शांत चित्त से मन को एकाग्र करके आंखें बंद करके एक एहसास करना है कि उसके शरीर में एक प्रकार की ऊर्जा एकत्र हो रही है।

धीरे धीरे साधना के द्वारा उस उर्जा को हाथ पैरों का आकार देकर कन्या पुरुष के रूप में परिवर्तित करना है इस साधना को कम से कम 6 माह तक करना पड़ सकता है और नित्य अभ्यास करने से यह कृत्य रूपी कन्या आपके पास हमेशा रहती है साधना करने वाला व्यक्ति चाहे जिस स्थिति में हो यह उसके साथ हमेशा रहती है।

कृत्या साधना में उत्पन्न हुई कृत्य का निर्माण तीन तत्वों से होता है और मन से बहुत तीव्र होती।
साधना करने में तभी सफलता मानी जाती है जब यह कृत्य रूपी शक्ति 24 घंटे आपके साथ रहने लगे।

कृत्या साधना करने के लिए मंत्र : Mantra to kritya practice 

ॐ कृत्या सर्व शत्रुणाँ मारय मारय हन हन ज्वालय ज्वालय जय जय साधक प्रिये ॐ स्वाहा॥ अथवा
ॐ क्लीम क्लीम शत्रुणाम मोहये उच्चाटाये मारये वचन सिद्धि मम आज्ञा पालय पालय कृत्याम सिद्धि फट।।

कृत्या साधना करने की विधि :

यह साधना अमावस्या, होली, दीपावली या मंगलवार के दिन से प्रारंभ की जाती है। इसको प्रारंभ करने के पूर्व काले वस्त्र, काला आसन धारण करके तथा शिव पूजन करके शुरुआत की जाती है।

यह साधना करने के बाद साधना कर्ता के सामने तीन कृत्या देवी मारण, मोहन और उच्चाटन प्रकट होती हैं। इस साधना को सिद्ध करने के बाद व्यक्ति त्रिकालदर्शी हो जाता है और वह हजारों मील दूर के कार्य क्षण भर में कर सकता है।

इस साधना में हमेशा मस्तिष्क की विचार शून्यता बनाए रखते हुए चिंतन करते हुए करना आवश्यक है। इस साधना का अभ्यास करते समय मन किसी भी प्रकार के भटकाव में ना रहे। किसी भी प्रकार की साधना में मानसिक बल नहीं देना चाहिए जिससे थकान ना महसूस हो बल्कि उसे आंतरिक भावना से महसूस करना चाहिए।

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कृत्या साधना का सही समय :

कृत्या सिद्धि साधना के लिए प्रातः काल सूर्योदय से 1 घंटे पूर्व और सूर्योदय के 1 घंटे बाद तक का समय उपयुक्त होता है।
साधना के समय स्थिर चित्र से आसन पर बैठकर कल्पना करें किस शरीर के प्रत्येक अंग से कुछ तेज निकल रहा है और एक कन्या का निर्माण हो रहा है सबसे पहले कृपया के सिर का निर्माण हो रहा है फिर आंखों से आंखें हाथ पैरों से उसके हाथ पैरों आदि का निर्माण हो रहा ऐसा कल्पना करें।

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कुछ समय बाद साधक को आंखें बंद करने के बाद उसके शरीर से मानस रूप में कन्या स्पष्ट दिखाई देने लगेगी और इस समय आपको चिंतन करते रहना और उसे देखते रहना चाहिए उसे अपनी आंखों से ओझल होने नहीं देना है।

यह साधना लगभग 6 माह तक करनी पड़ती है परंतु जब साधक अभ्यस्त हो जाता है तो उसे हमेशा वह कन्या आंखों के सामने महसूस होती रहती है।

जब आपकी साधना 24 घंटे आपकी आंखों के सामने कृत्या दिखाई देने लगे तो आप उससे कोई भी कार्य करने के लिए संदेश दे सकते हैं जैसे इस समय दिल्ली में क्या हो रहा है तो कृत्या उस वह तत्काल आपको बता देगी।

कृत्या साधना की विशेषता क्या है ? What is the specialty of kratya practice?

कृपया सिद्ध हो जाने के बाद कृपया से भूत और भविष्य का विवरण जान सकते हैं यदि आप कभी भी किसी भीड़ में भी बैठे हैं और कुछ पूछना चाहेंगे तो कृत्या आपको बता देगी और उस समय उसके द्वारा कहे गए शब्द केवल आपको सुनाई देंगे और किसी को आभास तक नहीं होगा।! यह पोस्ट आप OSir.in वेबसाइट पर पढ़ रहे है !

कृत्या साधना में क्या सावधानी रखे ? What precautions should be taken in practicing kratya meditation?

कृपया साधना सिद्धि हो जाने के बाद इसका प्रयोग कभी भी किसी गलत कार्य के लिए ना करें कृत्या साधना का प्रयोग तभी करें जब कोई कठिन से कठिन समस्या या कार्य होने पर यदि आपके बस में करने की क्षमता ना हो तो करें। सबसे उचित माना जाता है।

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