लिखित संपूर्ण “श्री तुलसी चालीसा” एवं पाठ विधि ,मंत्र,आरती और 9 फायदे | tulsi chalisa

तुलसी चालीसा | Tulsi chalisa : हेलो दोस्तों नमस्कार स्वागत है आपका हमारे आज के इस नए लेख में आज हम आप लोगों को इस लेख के माध्यम से tulsi chalisa के बारे में बताने वाले हैं हमारे हिंदू धर्म के सभी घरों में तुलसी अवश्य देखने को मिलेगी हिंदू धर्म में तुलसी को अत्यंत पवित्र माना जाता है मां तुलसी की पूजा करने से अनेकों प्रकार के लाभ भी प्राप्त होते हैं.

ऐसा कहा जाता है कि मां तुलसी की पूजा अपने घर में करने से सकारात्मकता आती है तुलसी का पौधा ना केवल औषधि के रूप में जाना जाता है बल्कि पूजा पाठ में भी इस तुलसी के पेड़ का प्रयोग किया जाता है। तुलसी का पेड़ भगवान विष्णु को बहुत ही प्रिय है धार्मिक मान्यताओं के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि जिस भी घर में माता तुलसी का पौधा होता है और प्रतिदिन उनकी पूजा की जाती है और उन्हें जल अर्पित किया जाता है.

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तो उस व्यक्ति के घर में कभी भी दरिद्रता और दुर्भाग्य वास नहीं करता है उस व्यक्ति के घर में हमेशा माता लक्ष्मी एवं भगवान विष्णु की कृपा बनी रहती है वैसे तो 12 महीनों में तुलसी माता का एक विशेष दिन रखा गया है कार्तिक माह में तुलसी माता की पूजा की जाती है कार्तिक माह माता तुलसी को प्रसन्न करने का उत्तम समय माना जाता है.

इसी माह में श्री भगवान विष्णु की पूजा भी होती है कार्तिक माह के महीने में ही शालिग्राम जी से तुलसी का विवाह संपन्न किया गया था तो चलिए आज हम आप लोगों को इस लेख के माध्यम से tulsi chalisa के बारे में जानकारी देंगे इसके अलावा तुलसी चालीसा का पाठ कब करना चाहिए ? tulsi chalisa का पाठ कैसे करें ?

तुलसी चालीसा का पाठ करने के लाभ क्या है? इन सभी विषयों के बारे में विस्तार से जानकारी देंगे अगर आप हमारे इस लेख को अंत तक पढ़ते हैं तो आपको इन सभी विषयों के बारे में संपूर्ण जानकारी अवश्य प्राप्त हो जाएगी।

तुलसी चालीसा का पाठ कब करना चाहिए ? | Tulsi Chalisa ka path kab karna chahiye ?

हमारे हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार तुलसी माता की पूजा बहुत ही विधि विधान पूर्वक मनाई जाती है मां तुलसी के विवाह में तुलसी चालीसा का पाठ अवश्य करना चाहिए tulsi chalisa का पाठ करने का शुभ दिन तुलसी विवाह के दिन होता है tulsi chalisa का पाठ करने से व्यक्ति के संपूर्ण दुख दूर हो जाते हैं और उसके घर में हमेशा खुशहाली बनी रहती है।

तुलसी पूजा करना क्यों अच्छा माना गया है ? | Tulsi Puja karna Kyun Acha Mana gaya hai ?

हमारे हिंदू धर्म के लोग अपने घर में तुलसी का पौधा अवश्य लगाते हैं शास्त्रों के अनुसार ऐसा मानना है कि तुलसी का पौधा घर में सुख शांति और सौभाग्य लेकर आता है भगवान विष्णु को तुलसी अति प्रिय है ऐसे में अगर आप अपने घर में तुलसी का पौधा लगाकर उसकी विधि विधान पूर्वक पूजा करते हैं तो आपको तुलसी के साथ भगवान विष्णु का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है.

basil

अर्थात शास्त्रों में ऐसा लिखा है कि विष्णु के बिना तुलसी का पौधा अधूरा माना जाता है तुलसी का प्रयोग हनुमान भगवान की पूजा में भी किया जाता है। वैसे तो तुलसी का पौधा एक औषधि का पौधा है क्योंकि इस पौधे का इस्तेमाल कई प्रकार की बीमारियों को ठीक करने के लिए किया जाता है।

तुलसी चालीसा | Tulsi chalisa

श्री तुलसी महारानी, करूं विनय सिरनाय।
जो मम हो संकट विकट, दीजै मात नशाय।।

नमो नमो तुलसी महारानी, महिमा अमित न जाय बखानी।
दियो विष्णु तुमको सनमाना, जग में छायो सुयश महाना।।

विष्णुप्रिया जय जयतिभवानि, तिहूँ लोक की हो सुखखानी।
भगवत पूजा कर जो कोई, बिना तुम्हारे सफल न होई।।

जिन घर तव नहिं होय निवासा, उस पर करहिं विष्णु नहिं बासा।
करे सदा जो तव नित सुमिरन, तेहिके काज होय सब पूरन।।

कातिक मास महात्म तुम्हारा, ताको जानत सब संसारा।
तव पूजन जो करैं कुंवारी, पावै सुन्दर वर सुकुमारी।।

कर जो पूजन नितप्रति नारी, सुख सम्पत्ति से होय सुखारी।
वृद्धा नारी करै जो पूजन, मिले भक्ति होवै पुलकित मन।।

श्रद्धा से पूजै जो कोई, भवनिधि से तर जावै सोई।
कथा भागवत यज्ञ करावै, तुम बिन नहीं सफलता पावै।।

छायो तब प्रताप जगभारी, ध्यावत तुमहिं सकल चितधारी।
तुम्हीं मात यंत्रन तंत्रन, सकल काज सिधि होवै क्षण में।।

औषधि रूप आप हो माता, सब जग में तव यश विख्याता,
देव रिषी मुनि औ तपधारी, करत सदा तव जय जयकारी।।

वेद पुरानन तव यश गाया, महिमा अगम पार नहिं पाया।
नमो नमो जै जै सुखकारनि, नमो नमो जै दुखनिवारनि।।

नमो नमो सुखसम्पति देनी, नमो नमो अघ काटन छेनी।
नमो नमो भक्तन दुःख हरनी, नमो नमो दुष्टन मद छेनी।।

नमो नमो भव पार उतारनि, नमो नमो परलोक सुधारनि।
नमो नमो निज भक्त उबारनि, नमो नमो जनकाज संवारनि।।

नमो नमो जय कुमति नशावनि, नमो नमो सुख उपजावनि।
जयति जयति जय तुलसीमाई, ध्याऊँ तुमको शीश नवाई।।

निजजन जानि मोहि अपनाओ, बिगड़े कारज आप बनाओ।
करूँ विनय मैं मात तुम्हारी, पूरण आशा करहु हमारी।।

शरण चरण कर जोरि मनाऊं, निशदिन तेरे ही गुण गाऊं।
क्रहु मात यह अब मोपर दाया, निर्मल होय सकल ममकाया।।

मंगू मात यह बर दीजै, सकल मनोरथ पूर्ण कीजै।
जनूं नहिं कुछ नेम अचारा, छमहु मात अपराध हमारा।।

बरह मास करै जो पूजा, ता सम जग में और न दूजा।
प्रथमहि गंगाजल मंगवावे, फिर सुन्दर स्नान करावे।।

चन्दन अक्षत पुष्प् चढ़ावे, धूप दीप नैवेद्य लगावे।
करे आचमन गंगा जल से, ध्यान करे हृदय निर्मल से।।

पाठ करे फिर चालीसा की, अस्तुति करे मात तुलसा की।
यह विधि पूजा करे हमेशा, ताके तन नहिं रहै क्लेशा।।

करै मास कार्तिक का साधन, सोवे नित पवित्र सिध हुई जाहीं।
है यह कथा महा सुखदाई, पढ़े सुने सो भव तर जाई।।

तुलसी मैया तुम कल्याणी, तुम्हरी महिमा सब जग जानी।
भाव ना तुझे माँ नित नित ध्यावे, गा गाकर मां तुझे रिझावे।।

यह श्री tulsi chalisa पाठ करे जो कोय।
गोविन्द सो फल पावही जो मन इच्छा होय।।

तुलसी चालीसा का पाठ कैसे करें ? | Tulsi Chalisa ka path kaise kare ?

अधिकतर लोग अपने घर में तुलसी का पौधा लगाते हैं लेकिन उस तुलसी की पूजा कैसे करनी है इसके बारे में किसी को भी जानकारी नहीं होती है इसीलिए आज हम आप लोगों को तुलसी विवाह के दिन मां तुलसी की पूजा कैसे की जाए और उसके साथ चालीसा का पाठ कैसे किया जाए इसके बारे में जानकारी देंगे।

Tulsi

  1. तुलसी चालीसा का पाठ करने के लिए शरद पूर्णिमा के दिन प्रातः काल उठकर स्नानादि से निवृत्त हो जाएं और स्वच्छ वस्त्र धारण कर लें।
  2. मां तुलसी की पूजा प्रारंभ करने से पहले जिस जगह पर आपको अच्छी तरह से साफ सफाई कर लेना है अगर आपके घर में पहले से ही तुलसी का पौधा लगा हुआ है तो उसी जगह पर पूजा की संपूर्ण सामग्री को एकत्रित करके रख लेना है।
  3. उसके पश्चात मां तुलसी की पूजा करने के लिए कलश , अगरबत्ती , धूप बत्ती , घी का दीपक , सिंदूर , फूल , भोग आदि एकत्रित करना है।
  4. संपूर्ण सामग्री एकत्रित करने के पश्चात तुलसी के सामने बैठकर उनका ध्यान करना है और ध्यान करते हुए तुलसी के पौधे में जल अर्पित करना है।
  5. जल को अर्पित करने के पश्चात तुलसी की तीन बार परिक्रमा करनी है।
  6. परिक्रमा करने के पश्चात मां तुलसी की विधि विधान पूर्वक पूजा करनी है एकत्रित की हुई सामग्री को मां तुलसी के सामने अर्पित करना है।
  7. उसके पश्चात मां तुलसी के सामने आसन बिछाकर इनके प्रिय मंत्रों का जाप करना है।
  8. उसके पश्चात तुलसी चालीसा का पाठ करना है।
  9. तुलसी चालीसा का पाठ करने के पश्चात तुलसी माता की आरती करनी है और उनकी पूजा संपूर्ण करनी है उसके पश्चात संपूर्ण देवी देवताओं की पूजा एक साथ करना है।

तुलसी चालीसा पाठ के लाभ | Tulsi Chalisa path ke labh

basil- tulsi

अगर आप में से कोई भी व्यक्ति tulsi chalisa का पाठ करता है या फिर करना चाहता है तो उसके लिए उस व्यक्ति को तुलसी चालीसा के फायदे के बारे में अवश्य जानकारी होनी चाहिए तो चलिए आज हम आप लोगों को नित्य तुलसी चालीसा का पाठ करने से कौन से लाभ प्राप्त होते हैं इसके बारे में जानकारी देंगे।

1. नजर दोष

अगर आप में से कोई भी व्यक्ति नियमित रूप से तुलसी चालीसा का पाठ करता है तो उस व्यक्ति के ऊपर लगी हुई नजर दोष दूर हो जाती है।

2. शांति का वास

अगर आप में से कोई भी व्यक्ति नियमित रूप से tulsi chalisa का पाठ करेगा तो उसके घर में शांति का वास होता है।

3. लक्ष्मी का वास

तुलसी चालीसा बहुत ही शक्तिशाली चालीसा है इस चालीसा का पाठ करने से घर में माता लक्ष्मी का वास होता है अगर आप सोच रहे हैं कि tulsi chalisa का पाठ करने से माता लक्ष्मी कैसे प्रसन्न होगी तो हम आपको बता दें कि भगवान विष्णु के बिना तुलसी अधूरी मानी जाती है.

अगर आप तुलसी की पूजा विधि विधान पूर्वक करते हैं तो भगवान विष्णु अपने आप प्रसन्न हो जाते हैं और अगर भगवान विष्णु प्रसन्न होते हैं तो माता लक्ष्मी अपने आप घर में प्रवेश करती हैं।

4. आर्थिक तंगी दूर

नियमित रूप से tulsi chalisa का पाठ करने पर आर्थिक तंग टी जैसी समस्या से छुटकारा मिल जाता है।

5. भगवान विष्णु का आशीर्वाद

NARAYAN VISHNU BHAGWAN

तुलसी का पौधा भगवान विष्णु के बिना अधूरा माना जाता है इसीलिए कहा गया है कि अगर तुलसी चालीसा का नियमित रूप से पाठ किया जाए तो भगवान विष्णु का आशीर्वाद हमेशा के ऊपर बना रहेगा ।

6. नौ ग्रह की शांति

tulsi chalisa का पाठ नियमित रूप से करने पर नौ ग्रह की शांति होती है।

7. विवाह में आ रही बाधा

अगर किसी व्यक्ति के विवाह में विभिन्न प्रकार की बाधाएं उत्पन्न हो रही है तो उन बाधाओं को दूर करने के लिए tulsi chalisa का पाठ करना चाहिए इस पाठ को करने से विवाह में आ रही बाधाएं दूर हो जाती हैं।

8. धन लाभ

मां तुलसी की पूजा करने से लक्ष्मी माता प्रसन्न हो जाती है क्योंकि तुलसी को भगवान विष्णु के बिना अधूरा माना जाता है और जहां भगवान विष्णु होते हैं वहां माता लक्ष्मी अपने आप चली आती हैं तो ऐसे में tulsi chalisa का पाठ करने पर धन बल और ज्ञान – विवेक आदि की प्राप्ति होती है।

9. जीवन तरक्की

अगर आप में से कोई भी व्यक्ति कड़ी से कड़ी मेहनत करता है लेकिन उसके बावजूद भी उस व्यक्ति को किसी भी चीज में सफलता हासिल नहीं होती है तो ऐसे में आपको tulsi chalisa का पाठ करना चाहिए तुलसी चालीसा का पाठ करने से जीवन के हर पहलू में तरक्की प्राप्त होती है।

मां तुलसी के कुछ प्रिय मंत्र | Man Tulsi Ke Kuch Priya Mantra

Tulsi

1. तुलसी माता का स्तुति मंत्र

देवी त्वं निर्मिता पूर्वमर्चितासि मुनीश्वरैः,
नमो नमस्ते तुलसी पापं हर हरिप्रिये।।

2. मां तुलसी का पूजन मंत्र

तुलसी श्रीर्महालक्ष्मीर्विद्याविद्या यशस्विनी।
धर्म्या धर्मानना देवी देवीदेवमन: प्रिया।।
लभते सुतरां भक्तिमन्ते विष्णुपदं लभेत्।
तुलसी भूर्महालक्ष्मी: पद्मिनी श्रीर्हरप्रिया।।

तुलसी माता की आरती | Tulsi Mata ki aarti

tulsi ka ped gamla mandir bag hariyali

जय जय तुलसी माता
सब जग की सुख दाता, वर दाता
जय जय तुलसी माता ।।

सब योगों के ऊपर, सब रोगों के ऊपर
रुज से रक्षा करके भव त्राता
जय जय तुलसी माता।।

बटु पुत्री हे श्यामा, सुर बल्ली हे ग्राम्या
विष्णु प्रिये जो तुमको सेवे, सो नर तर जाता
जय जय तुलसी माता ।।

हरि के शीश विराजत, त्रिभुवन से हो वन्दित
पतित जनो की तारिणी विख्याता
जय जय तुलसी माता ।।

लेकर जन्म विजन में, आई दिव्य भवन में
मानवलोक तुम्ही से सुख संपति पाता
जय जय तुलसी माता ।।

हरि को तुम अति प्यारी, श्यामवरण तुम्हारी
प्रेम अजब हैं उनका तुमसे कैसा नाता
जय जय तुलसी माता ।।

FAQ : tulsi chalisa

तुलसी में किसका वास होता है ?

वैसे तो हमारे हिंदू धर्म के अनुसार ऐसा बताया गया है कि तुलसी माता में भगवान विष्णु का वास होता है क्योंकि तुलसी भगवान विष्णु को अत्यंत प्रिय है अगर आप में से कोई भी व्यक्ति विधि विधान पूर्वक तुलसी माता की पूजा करता है तो उसे विष्णु भगवान का आशीर्वाद अवश्य प्राप्त होता है।

घर में कौन सी तुलसी लगानी चाहिए ?

क्या आप लोग यह जानना चाहते हैं कि घर में तुलसी लगाना इससे क्या होता है घर में श्याम तुलसी लगाना शुभ माना जाता है श्यामा तुलसी की पत्तियां हरे रंग की होती हैं वैसे तो आप जानते होंगे कि हमारे भारत के तिरंगे में हरा कलर विराजमान है और इस हरे रंग का अर्थ हरियाली का प्रतीक होता है।

प्रतिदिन तुलसी की पूजा कैसे करें ?

अगर आप में से कोई भी व्यक्ति या जानना चाहता है कि माता तुलसी की पूजा कैसे की जाती है तो हम आपको बता दें कि माता तुलसी की पूजा करने के लिए आपको सुबह प्रातः उठना है स्नानादि से निश्चिंत होने के बाद तुलसी के पेड़ को अर्घ्य देना है और उसके पश्चात फूल , सिंदूर , लाल , चूड़ी आदि चढ़ाकर उनकी संपूर्ण पूजा करनी है।

निष्कर्ष

दोस्तों जैसा कि आज हमने आप लोगों को इस लेख के माध्यम से tulsi chalisa के बारे में संपूर्ण जानकारी दी इसके अलावा tulsi chalisa का पाठ कब करना चाहिए tulsi chalisa का पाठ कैसे करें और tulsi chalisa का पाठ करने के लाभ क्या है इन सभी विषयों के बारे में विस्तार से जानकारी दी है अगर आपने हमारे इस लेख को अच्छे से पढ़ा है.

तो आपको इन सभी विषयों के बारे में संपूर्ण जानकारी प्राप्त हो गई होगी उम्मीद करते हैं हमारे द्वारा दी गई जानकारी आपको अच्छी लगी होगी और आपके लिए उपयोगी भी साबित हुई होगी ।