गायत्री मंत्र जप के फायदे और नियम जाने कब और कैसे करें | Gayatri mantra jaap

Gayatri mantra jaap : हिंदू धर्म में गायत्री मंत्र का काफी बड़ा महत्व है और धार्मिक दृष्टिकोण से देखें तो इसकी शक्तिशाली मंत्रों में गिनती की जाती है. इस मंत्र के द्वारा आप अपने सभी प्रकार के दुख तकलीफ को दूर कर सकते हैं और आपके जीवन में अगर किसी प्रकार की कोई मनोकामना की पूर्ति नहीं हो रही है तो आप इसके द्वारा उसकी पूर्ति भी कर सकते हैं.

अब आपके मन मे सवाल आएगा कि गायत्री मंत्र का प्रयोग कैसे करें एवम करने का तरीका क्या है और अगर गायत्री मंत्र का हम प्रयोग करते हैं, तो हमें उसके क्या फायदे मिलेंगे ? क्या आप इसके बारे में जानते हैं ? अगर आप नहीं जानते हैं तो चिंता की कोई बात नहीं है.

मैं आज आपको इस आर्टिकल के माध्यम से बताऊंगा कि GAYATRI MANTRA PRAYOG karne ke upay aur fayde kya hai आइए मैं उसकेे बारे आपको बताऊं :

गायत्री मंत्र क्या है ? | GAYATRI MANTRA kya hai ? 

‘ऊं भूर्भुव: स्व: तत्सवितुर्वरेण्यं भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो न: प्रचोदयात्।

इस मंत्र का मतलब यह होता है कि हम सृष्टि कर्ता यानी ईश्वर के तेज का हम ध्यान करते हैं.

 

परमात्मा का वह तेज हमारी बुद्धि को सद्मार्ग की ओर चलने के लिए प्रेरित करें। कि किसी भी मनुष्य के दिल में अधर्म करने का विचार ना आए। अब तो आपको समझ में आ गया होगा कि गायत्री मंत्र क्या होता है ?

गायत्री मंत्र का प्रयोग कैसे करें ? | GAYATRI MANTRA KA PRAYOG KAISE KARE ? 

अगर कोई व्यक्ति गायत्री मंत्र का प्रयोग करना चाहता है तो उसके लिए उसे नियमित रूप से 108 बार गायत्री मंत्र का जाप करना होगा इस जॉब से आपको सभी प्रकार की विधाएं प्राप्त हो जाती हैं अगर किसी भी बच्चे का पढ़ने में मन नहीं लगता है तो इस गायत्री मंत्र का जाप करना चाहिए.

अगर आप लोग सच्ची श्रद्धा और भक्ति के साथ गायत्री मंत्र का प्रयोग करते हैं तो यह आपके लिए कल्याणकारी साबित होता है ऐसा कहा जाता है कि जो भी व्यक्ति गायत्री मंत्र का जाप करता है उस व्यक्ति को हर क्षेत्र में सफलता प्राप्त होती है

गायत्री मंत्र का जाप कब करना चाहिए ? | Gayatri mantra jaap kab karna chahiye ? 

किसी भी मंत्र का जाप करने के लिए एक विशेष प्रकार का समय निर्धारित होता है ऐसे में अगर आप भी गायत्री मंत्र का जाप करना चाहते हैं तो इसके लिए आपको कुछ विशेष प्रकार के समय का पालन करना होगा. जो इस प्रकार है  -पहला समय प्रात: काल का, सूर्योदय से थोड़ी देर पहले गायत्री मंत्रों का उच्चारण आपको शुरू करना चाहिए और जब सूर्यास्त हो जाए तो उसे बंद करना चाहिए.

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इसके अलावा दूसरा समय कि हम बात करें, तो दोपहर का है और तीसरा समय शाम का सायंकाल में सूर्यास्त के कुछ देर पहले मंत्र का जपन शुरू करके सूर्यास्त के कुछ समय बाद तक आपको करना है और फिर उच्चारण को बंद कर देना है।

इन तीनों समय के अलावा अगर आप कभी भी और मंत्रों का उच्चारण करना चाहते हैं तो आप हमेशा मंत्रों का उच्चारण अपने मन के अंदर करेंगे किसी प्रकार की आवाज अगर आप निकालेंगे तो आपके द्वारा उच्चारित मंत्रों का कोई लाभ प्राप्त नहीं होगा।

गायत्री मंत्र का जाप कैसे करें ? | Gayatri mantra jaap KAISE KARE ? 

गायत्री मंत्र का जाप आप निम्नलिखित तरीके से कर सकते हैं जिसका विवरण में नहीं बिंदु अनुसार दूंगा जो इस प्रकार है :

  • गायत्री मंत्र हमेशा रुद्राक्ष माला के साथ ही आप शुरुआत करें ताकि आपको इसका ज्यादा फायदा मिल सके।
  • गायत्री मंत्र आप जब भी उच्चारण करेंगे तो तेज आवाज में बिल्कुल ना करें बल्कि धीरे-धीरे और अच्छी तरह से करें।
  • गायत्री मंत्र का उच्चारण आप कभी भी कर सकते हैं लेकिन उस समय जब भी आप करेंगे तो उन मंत्रों का उच्चारण मन के अंदर करेंगे ना कि आपको आवाज निकालनी है।

CHAKRA YOG

  • शुक्रवार को अगर आप गायत्री मंत्र का उच्चारण करते हैं तो आप को सबसे अधिक लाभ मिलेगा क्योंकि शुक्रवार का दिन माता गायत्री देवी का होता है और उनके लिए आप पर विशेष प्रकार के पीले वस्त्र पहन ले और फिर उनके मंत्रों का उच्चारण करें आपको इसका फायदा जरूर।
  • मंगलवार और अमावस्या के दिन आप लाल कपड़े पहने हैं।
  • गायत्री मंत्र के आगे-पीछे श्री का संपुट लगाकर जाप करें. अगर आप ऐसा करते हैं तो आपको अपने शत्रुओं पर विजय हासिल करने में सहायता मिलेगी।

गायत्री मंत्र जाप का नियम क्या है ? | Gayatri mantra jaap ka niyam kya hai ?

गायत्री मंत्रों का जाप करने के लिए आपको निम्नलिखित प्रकार के नियमों का पालन करना होगा जिसका विवरण में नीचे बिंदु अनुसार दूंगा जो इस प्रकार है :

  • आप गायत्री मंत्रों का जाप करना चाहते हैं तो इसके लिए आप किसी एक गुरु की सहायता ले सकते हैं।
  • साफ और सूती वस्त्र धारण करें।
  • चटाई या कुश  पर आप आसन लगाकर बैठे।

  • चंदन की या तुलसी के माला का आप इस्तेमाल कर सकते हैं।
  • गायत्री  मंत्र का जाप करने से पहले आप कभी भी किसी प्रकार के मांस मछली का सेवन ना करें और अगर आप ऐसा करते हैं तो अच्छी तरह से आप स्नान कर ले उसके बाद ही आप गायत्री मंत्रों का जाप करें नहीं तो आपके  उच्चारित मंत्रों का आपको विशेष लाभ नहीं मिलेगा।
  • सुबह के समय जब जाप करे तो पूर्व दिशा की ओर मुख करके बैठे।
  • संध्या के समय पश्चिम दिशा की ओर मुख करके जाप करना उचित होता है।

गायत्री मंत्र के फायदे क्या है ? | Gayatri mantra jaap ke fayde kya hai ?

गायत्री मंत्र उच्चारण करने का आपको निम्नलिखित प्रकार के फायदे मिलेंगे जिसका विवरण में नीचे बिंदु अंसार दूंगा जो इस प्रकार है-

  • अगर आपको अधिक क्रोध आता है तो इसके लिए आप गायत्री मंत्र का उच्चारण कर सकते हैं कि गायत्री मंत्र आपके क्रोध को काबू में करने में काफी आपकी सहायता करता  है और इसके अलावा अगर आप अनेकों प्रकार की गंभीर बीमारी जैसे अस्थमा जैसी समस्या से परेशान हैं तो गायत्री मंत्र का उच्चारण करने से आपको इस बीमारी से राहत पाने में मदद मिलेगी।
  • अगर आप विधार्थी है और आप का मन पढ़ाई में नहीं लग रहा है तो इसके लिए आप गायत्री मंत्र का इस्तेमाल कर सकते हैं क्योंकि गायत्री मंत्र आपके सोचने की शक्ति को बहुत ज्यादा तेजी के साथ विकसित करता है और आपको याद नहीं रखने की जो समस्या है उसे भी आपको छुटकारा दिलाता है इसलिए गायत्री मंत्र का इस्तेमाल विद्यार्थियों को जरूर करना चाहिए उससे उनको पढ़ाई में काफी मदद मिलती है।

  • अपने जीवन में अनेकों प्रकार के परेशानी और शत्रुओं से परेशान है तो इसके लिए गायत्री मंत्र का उच्चारण करने से आपको अपने साथियों से छुटकारा मिलेगा और साथ में आपके जीवन में कोई परेशानी है तो उसका भी हाल आपको मिल जाएगा क्योंकि ज्योतिष की  किताबों में इस बात का उल्लेख किया गया है कि गायत्री मंत्र आपकी  परेशानी से मुक्त करता  है और शत्रुओं से छुटकारा दिलाती है।
  • अगर आप को संतान प्राप्ति नहीं हो रही है तो इस समस्या से छुटकारा पाने के लिए आप गायत्री मंत्र का इस्तेमाल कर सकते हैं सबसे पहले उस कपल को  श्वेत रंग के कपड़े पहन कर ‘यौं’ बीज मंत्र के साथ गायत्री मंत्र का उच्चारण करना चाहिए। अगर आप ऐसा करते हैं तो आपको संतान की प्राप्ति होगी।
  • प्रतिदिन अगर आप अपने घर में गायत्री मंत्र का उच्चारण करते हैं तो आपके घर में कभी भी नकारात्मक ऊर्जा का प्रवेश नहीं होगा और आपके घर का वातावरण सुगंधित और सकारात्मक रहेगा इसके अलावा अगर आपके घर में नकारात्मक ऊर्जा है तो उससे भी आपको छुटकारा पाने में काफी मदद मिलेगी इसलिए आप गायत्री मंत्र का उच्चारण नियमित रूप से सुबह के समय करें ताकि आपको जीवन में किसी प्रकार के नकारात्मक ऊर्जा का प्रवेश ना हो सके।

निष्कर्ष

उम्मीद करता हूं कि आपको आर्टिकल पसंद आएगा अगर पसंद आए तो इसे लाइक और शेयर करें और अगर आपका कोई भी सवाल है तो मेरे कमेंट बॉक्स में पूछे मैं उसका उत्तर देने के लिए हमेशा आपकी सेवा में उपस्थित रहूंगा तब तक के लिए धन्यवाद और मिलते हैं अगले आर्टिकल में।

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