Rudraksha ke fayde aur nuksan हेलो दोस्तों नमस्कार आज हम आप लोगों को रुद्राक्ष पहनने के फायदे और नुकसान बताएंगे दोस्तों आजकल के दौर में माना जाए तो रुद्राक्ष को लोगों ने फैशन बना कर रखा है.
जिसको भी देखो गले से लेकर हाथ पैर हर जगह रुद्राक्ष पहनने लगे हैं इसीलिए आज हम आपको रुद्राक्ष के विषय में कुछ ऐसी चीजें बताएंगे जिनको पढ़ने के बाद आपको समझ में आएगा कि रुद्राक्ष माला का असली अस्तित्व क्या है ?
रुद्राक्ष माला भगवान भोलेनाथ पहनते हैं जिसका इस दुनिया में बहुत बड़ा लाभ माना जाता है रुद्राक्ष को भगवान भोलेनाथ के मंत्र में जाप करने के लिए भी उपयोग किया जाता है तो आज हम आपको इस रुद्राक्ष माला का असली अस्तित्व बताएंगे तो चलिए सबसे पहले आज हम आपको बताते हैं कि रुद्राक्ष क्या है?
रुद्राक्ष पहनने के फायदे और नुकसान क्या है और रुद्राक्ष पहनने के बाद उसके नियम क्या है ? तो चलिए सबसे पहले रुद्राक्ष क्या है ? इस पर चर्चा करते हैं।
रुद्राक्ष का क्या अर्थ होता है ?
रुद्राक्ष का मतलब रूद्र का अक्ष होता हैं. लेकिन कहा जाता हैं कि रुद्राक्ष की उत्पत्ति भगवान शिव के अश्रुओं द्वारा हुई है. आभूषण के रूप में सुरक्षा के लिए, ग्रह शांति के लिए और आध्यात्मिक लाभ के लिए रुद्राक्ष की माला का प्रयोग किया जा रहा है।
रुद्राक्ष पहनने के फायदे और नुकसान क्या हैं ?
रुद्राक्ष पहनने के फायदे और नुकसान निम्न प्रकार के होते हैं जो इस प्रकार हैं :
रुद्राक्ष पहनने के फायदे | rudraksh pahanne ke fayde
- रुद्राक्ष ‘इलाओकार्पस गैनिट्रस पेड़ का बीज है और पारंपरिक रूप से हिंदू और बौद्धों द्वारा प्रार्थना कि जप माला के लिए प्रयोग किया जाता है।
- रुद्राक्ष माला शक्ति के वे मूल वैदिक मनकेत है जो ज्ञान और मुक्ति के लिए योगियों और ऋषियों द्वारा पहने जाते हैं यह चिंता को दूर करने में मदद करता है।
- रुद्राक्ष धारक को मन की शांति प्रदान करते हैं रुद्राक्ष पहनने वाले के कर्म बदल देते हैं और उससे सत्य और धैय मार्ग पर चलाते हैं।
- रुद्राक्ष सक्रिय रुप से तनाव को नियंत्रित करते हुए शरीर मन और आत्मा के लिए बेहद सकारात्मक ऊर्जा उत्पन्न करते हैं।
- रुद्राक्ष व्यक्ति में शुद्धता लाकर उसके आंतरिक यांत्रियों की शक्ति में वृद्धि लाते हैं।
- यह आध्यात्मिकता का शक्तिशाली सुरक्षा कवच बनाते हैं जो आपकी सफलता के मार्ग में आने वाली सभी बाधाओं को दूर करते हैं।
- यह प्रकृति और ब्रह्मांड के सकारात्मक शक्तियों को एकत्रित कराते हैं जिससे आपके जीवन में सभी कार्य सकारात्मक होते हैं।
- रुद्राक्ष को आध्यात्मिक साधक बहुत महत्वपूर्ण मानते हैं क्योंकि यह उन्हें देवता की उपस्थिति देते हैं।
- रुद्राक्ष शरीर में कुंडलिनी को जगाने में मदद करते हैं और सभी महत्वपूर्ण ऊर्जाओं को शक्तिपूर्ण संतुलन में लाते हैं।
रुद्राक्ष पहनने के नुकसान
रुद्राक्ष पहनने के नियम भी बहुत सारे हैं जैसे कि रुद्राक्ष पहनने के बाद सही विधि धारणा ना करना रुद्राक्ष पहनने के बाद नियमों का पालन ना करना अपने अनुसार गलती मुखी रुद्राक्ष धारण कर देना आदि.
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दोस्तों रुद्राक्ष पहनने के बाद इन के नियमों का पालन जरूर करें अगर इनके नियमों का पालन नहीं करेंगे तो आपको बहुत ही नुकसान देह हो सकता है.
- रुद्राक्ष पहनने के बाद नियम का पालन ना करने से यह व्यक्ति को पथभ्रष्ट कर देता है।
- शराब पीने से या मांस खाने से रुद्राक्ष का बुरा असर पड़ता है.
- बिना नियम पूर्वक पहना गया रुद्राक्ष मन को आस्थिरत कर देता है।
- महिलाएं अगर पीरियड टाइम में इस माला को पहनेंगी तो उनके लिए जी यह बहुत ही नुकसानदेह हो सकता है.
रुद्राक्ष पहनने के बाद नियम
- माला को उतारकर किसी भी सौ यात्रा शोक बैठक या किसी भी मृत्यु से संबंधित कार्यक्रम में जाए वापस आकर स्नान करके फिर से उसे धारण करें.
- माला को उतारकर किसी भी ऐसी जगह पर जाए जहां सूतक लगा हो जैसे कि कहीं पर बच्चे का जन्म किसी अस्पताल में या किसी घर में वहां जाने से पहले ही उस माला को उतार दें.
- आपके ही अपने घर में किसी भी प्रकार से सूतक लग गया है तो जैसे कि किसी बच्चे का जन्म हुआ है या किसी की मृत्यु हुई हो ऐसी घटनाओं में अपने रुद्राक्ष के माला को किसी भी डिब्बी में पैक कर कर जहां पर आप उसके घर की सूतक की गंदी हवा उस माला के दाना को न लग पाए उसे किसी ऐसी जगह पर रखें .
- जब तक सूतक आपके घर से हटना जाए तब तक उस माला को उसी डिब्बे में बंद करके रखें सूतक हटने के बाद आप उस माला को निकालकर गंगाजल से शुद्ध करके पहन सकते हैं।
- शराब या मास आदि जैसे चीजों का खाना इस नियम में गुनाह माना जाता है।
- महिलाओं को पीरियड के टाइम रुद्राक्ष की माला को नहीं पहनना चाहिए 7 दिन तक रुद्राक्ष की माला नहीं पहनना है
- चाहे व्यक्ति शादीशुदा हो या कुंवारा हो किसी भी प्रकार के आधे या पूर्ण शारीरिक संबंध बनाते समय उस माला को उतार दें वह कार्य पूरा होने के बाद उस माला को स्नान करने के बाद फिर से पहन लेना चहिए.
- कभी भी सोते समय दिन में या रात में सोने से पहले रुद्राक्ष की माला को उतार दे क्योंकि इस माला को ना उतारने पर यह माला टूट जाती है.
- कोई भी गंदी जगह में जैसे कि कोई नाली हो कीचड़ हो शौचालय हो आदि में माला को शर्ट टी शर्ट बनियान के अंदर कर ले.
FAQ : रुद्राक्ष पहनने के फायदे और नुकसान
रुद्राक्ष पहनने के बाद क्या नहीं करना चाहिए ?
रुद्राक्ष पहनने के बाद शराब और मांस का टेबल बिल्कुल भी नहीं करना चाहिए ऐसा करने से भयंकर नुकसान होता है।
रुद्राक्ष कब और कैसे धारण करना चाहिए ?
रुद्राक्ष को सोमवार के दिन अथवा शिवरात्रि के दिन धारण करना चाहिए रुद्राक्ष धारण करने से पहले उसे सिद्ध अभिमंत्रित अवश्य करना चाहिए।
क्या स्त्री रुद्राक्ष पहन सकती है ?
स्त्री रुद्राक्ष पहन सकती है लेकिन स्त्री रुद्राक्ष पहनते वक्त विभिन्न नियमों का ध्यान अवश्य रखना चाहिए स्त्री को पीरियड के दौरान रुद्राक्ष नहीं पहनना चाहिए शिव की भक्ति करने वाली पतिव्रता नारी रुद्राक्ष पहन सकती है।
निष्कर्ष
दोस्तों जैसा कि आपने देखा हमने आज आपको रुद्राक्ष पहनने के फायदे और नुकसान बताएं तो दोस्तों अब आपको पता चल गया होगा कि रुद्राक्ष पहनने के फायदे और नुकसान क्या होते हैं और साथ में हमने आपको यह भी बताया कि रुद्राक्ष क्या होता है और रुद्राक्ष पहनने के बाद के नियम क्या होते हैं.
तो दोस्तों उम्मीद करते हैं कि आपको यह आर्टिकल जरूर पसंद आया होगा तो अगर पसंद आया हो तो हमें कमेंट करके जरूर बताएं और अगर पसंद आया हो तो ज्यादा से ज्यादा शेयर करें जिससे आपके दोस्तों को भी पता चले कि रुद्राक्ष क्या है? और रुद्राक्ष पहनने के फायदे और नुकसान क्या है?
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